(Hindi) Romeo and Juliet
वेरोना के दो बड़े परिवार, मोंतागुएऔर कापुलेट. ये दोनो परिवार शहर की सबसे ईज्जतदार और पैसेवाले लोग थे. लेकिन दोनों परिवारों के बीच एक पुरानी दुश्मनी चली आ रही थी जो अब नफरत की हद तक पहुँच चुकी थी. नफरत भी ऐसी की दोनों परिवारों के रिश्तेदार और दोस्त भी इस दुश्मनी में शामिल थे. नफरत की हद ये थी कि अगर कोई मोंतागुए(Montague ) के यहाँ नौकर है तो वो कापुलेट (Capulet) के वहां काम करने वाले नौकर से नहीं मिल सकता था. और ना ही कोई कापुलेट कभी गलती से भी किसी मोंतागुएसे टकराने की हिम्मत करता. और अगर गलती से कभी दोनों परिवारों के लोग आमने-सामने आ जाते तो आपस में गाली-गलौच से लेकर मारपीट तक की नौबत आ जाती थी. कहने का मतलब ये कि दोनों परिवार एक दुसरे के खून के प्यासे थे. उनकी इस दुश्मनी से वेरोना के बाकि भी उतने ही परेशान थे.
ओल्ड लार्ड कापुलेट ने एक बड़ा डिनर रखा था जिसमे शहर के बड़े-बड़े लोग और लेडीज इनवाईटेड थे. इस पार्टी में वेरोना की सबसे खूबसूरत और हसीन औरते आई थी. मोंतागुएपरिवार को छोडकर पार्टी में आने वाले हर मेहमान का दिल से वेलकम किया जा रहा था. कापुलेट्स की इस पार्टी में ओल्ड लार्ड मोंतागुएके बेटे रोमियो की लवर रोसलिने भी प्रेजेंट थी. वैसे तो इस पार्टी में किसी से भी ज्यादा मिलना खतरे से खाली नहीं था लेकिन रोमियो के फ्रेंड बेन्वोलियो ने रोमियो को मास्क लगा कर जाने की एडवाईज दी ताकि वो अपनी लवर की एक झलक देख सके. वैसे रोमियो को बेन्वोलियो की बातो में ज़रा भी यकीन नही था पर सिर्फ रोसलिने के प्यार की खातिर वो हर कीमत पर जाने को तैयार था. रोमियो पैशनेट और सिंसियर था, रोसलिने के प्यार में पूरी तरह से डूबा हुआ.
रोसलिने की याद उसे रात भर जगाये रखती थी, वो उसके लिए सब कुछ छोड़ सकता था. पर रोसलिने उसे ज़रा भी पसंद नहीं करती थी, रोमियो जितना उसके पीछे पड़ता, वो उससे उतनी ही नफरत करती थी. बेन्वोलियो इस बात से वाकिफ था. वो रोमियो के सर से प्यार का भूत उतारना चाहता था और उसे रिएलाइज कराना चाहता था कि दुनिया में लड़कियों की कमी नहीं है. तो कापुलेट्स की इस पार्टी में रोमियो और बेन्वोलियो अपने एक और फ्रेंड मेर्कुटीयो के साथ (Mercutio ) मास्क लगाकर पहुँच गए. ओल्ड कापुलेट ने उनका गर्मजोशी से वेलकम किया और बताया कि उन्हें पार्टी में खूबसूरत लड़कियां मिलेंगी जिनके साथ वो पूरी रात डांस कर सकते है.
फिर ओल्ड मेन ने ये भी कहा कि वो जब यंग था तो वो भी मास्क पहनकर लड़कियों के साथ डांस करता था. वो तीनो पार्टी में गए तो अचानक सामने एक बेहद खूबसूरत लड़की नाचती हुई दिखी. उसे देखकर रोमियो को फील हुआ जैसे वो अँधेरे में कोई हीरा चमकता हुआ देख रहा है. उसकी चेहरे पर एक नूर था, रोमियो उससे नजरे नही हटा पा रहा था.ऐसी खूबसूरती उसने आज तक नही देखी थी. वो लड़की उन सारी खूबसूरत औरतो के बीच ऐसी लग रही थी जैसे तारों में कोई चाँद हो. रोमियो अपने दोस्तों से उस लड़की की तारीफों के पुल बाँध रहा था कि उसकी बाते टेबेल्ट (Tybalt,) ने सुन ली जो लार्ड कापुलेट का नेफ्यू था. उसकी आवाज़ सुनते ही वो समझ गया कि वो रोमियो है. टाईबल्ट (Tybalt,) वैसे ही अपने गुस्से के लिए फेमस था, ऊपर से जब उसने देखा कि रोमियो पार्टी में मास्क पहनकर आया है तो गुस्से से उसका पारा चढ़ गया.
उसका बस चलता तो वहीँ उस रोमियो को मौत के घाट उतार देता पर उसके अंकल ओल्ड लार्ड कापुलेट नहीं चाहता था कि इस वक्त कोई खून-खराबा हो. एक और शहर भर के ईज्जतदार लोग उस पार्टी में आये हुए थे और दूसरा रोमियो ने अभी तक कोई गलत हरकत नही की थी. पूरे वेरोना शहर के लोग जानते थे कि वो एक शरीफ और तमीज़दार लड़का है. तो ओल्ड लोर्ड ने तैबाल्ट (Tybalt,) को बोला कि फिल्हास वो अपने गुस्से पे कण्ट्रोल कर ले और कभी बाद में वो लोग रोमियो की इस हरकत का बदला ले.
डांस खत्म हो चूका था. रोमियो की नजरे औरतो के बीच में उस लड़की पर जमी थी. उसने मास्क का फायदा उठाते हुए बड़े ही तमीज और तहज़ीब के साथ लड़की का हाथ पकड़ कर चूमा. मै सुंदरता का पुजारी हूँ और तुम सुंदरता की देवी” उसने लड़की से बोला.
‘बड़े दिलचस्प पुजारी हो” लड़की शर्माते हुए बोली.
तुम्हारी पूजा का अंदाज़ ही निराला है. पुजारी देवी को टच कर सकता है पर चूम नही सकता” लड़की ने कहा.
“ क्यों? क्या पुजारी के लिप्स नही होते? रोमियो ने पुछा.
“हम्म, होते है पर प्राथना करने के लिए” लड़की बोली.
“ओह मेरी सुंदरता की देवी, मेरी प्रेयर सुन लो और जो मै चाहता हूँ मुझे दे दो” रोमियो ने कहा.
वो दोनों एक दुसरे की आँखों में डूबे इसी तरह रोमांस की बाते करते रहे कि तभी लड़की की माँ ने उसे आवाज़ दी. जब लड़की चली गयी तो रोमियो ने पता लगाने की कोशिश की कि वो किसकी बेटी है. और जल्दी ही उसे पता चल गया कि जिस लड़की की खूबसूरती पर वो मर मिटा है वो और कोई नहीं बल्कि यंग जूलिएट है, लोर्ड कापुलेट की इकलौती बेटी जिसके साथ रोमियो के परिवार की खानदानी दुश्मनी थी. अनजाने में ही वो दुश्मन की बेटी को दिल दे बैठा था. और ये सोचकर वो टेंशन में आ गया. ये कैसा रिश्ता जुड़ गया था, एक तरफ पुरानी खानदानी दुश्मनी थी तो एक तरफ उसका प्यार. वो जुलिएट को चाह कर भी नहीं भूल सकता था.
और जल्दी ही जुलिएट को पता चल गया कि जो उसका दिल चुराने आया था वो और कोई नहीं बल्कि रोमियो है,एक मोंटागुए.(Montague) दोनों परिवारों की दुश्मनी से जुलिएट अंजान नहीं थी. पर उसकी भी वही हालत थी जो रोमियो की थी. सब कुछ जानते हुए भी वो रोमियो के प्यार में पड़ चुकी थी. अब चाहे कुछ भी हो जाये वो पीछे नही हट सकती.
आधी रात का वक्त था, रोमियो अपने दोस्तों के साथ पार्टी से निकला पर जल्दी ही उनसे अलग हो गया. जिस घर में वो अपना दिल हार आया था, वहां से दूर जाना उसे बड़ा मुश्किल लग रहा था. दुबारा उसकी एक झलक देखने के लिए वो जान की बाज़ी लगा सकता था. उसने जुलिएट के घर के पीछे वाले बगीचे की दिवार फांदी. और इंतज़ार करता रहा. अभी उसे ज्यादा वक्त नही हुआ था कि जुलिएट अपनी खिड़की पे खड़ी नजर आई. उसका खूबसूरत चेहरा खिड़की पे किसी सूरज की रौशनी की तरह चमक रहा था.
चाँद की धीमी रौशनी में बगीचे में खड़ा रोमियो बीमार और पीला दिख रहा था. और जुलिएट अपने हाथ पर गाल टिकाए हुए थी. रोमियो के दिल में ख्याल आया” काश वो उसके हाथ का ग्लोव होता तो उसका नर्म गाल छू पाता. जुलिएट सोच रही थी कि उसे कोई नही देख रहा. उसने एक गहरी साँस लेते हुए कहा” आह! रोमियो” और रोमियो ने जब देखा कि वो खुद से ही बाते कर रही है तो उसने भी धीरे से जवाब दिया” बोलो ना, माई लव. इस वक्त तुम मुझे खिड़की पर खड़ी ऐसी लग रही हो जैसे कोई एंज़ल मुझे हेवन से प्यार का संदेश देने आया हो” ”
जुलिएट को उस वक्त पता नहीं था कि नीचे गार्डन में खड़ा उसका रोमियो उसे देख रहा था. उस रात रोमियो से मिलकर उस पर एक अजीब सा नशा छाया था, ये नशा रोमियो के प्यार का था.
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रोमियो के ख्याल में डूबी हुई जुलिएट खिड़की पर खड़ी बोल रही थी” ओह, रोमियो! रोमियो! तुम कहाँ हो? सारी दुनिया को छोड़ दो, बस मेरे बन जाओ! अपना फादर को मना कर दो, छोड़ दो उनका नाम, अगर वो तुम्हे मेरा ना होने दे, बस तुम मेरे बनकर रहो, मेरे रोमियो, और मै हमेशा तुम्हारी…”
रोमियो ने जब जुलिएट की ये प्यार भरी बाते सुनी तो उसका मन किया कि वो यूं ही बोलती रहे और वो यूं ही सुनता रहे. और जुलिएट खुद से ही अपने दिल का हाल बयां किये जा रही थी. वो अपने ख्यालो में रोमियो से नाराज़ थी इस बात के लिए कि वो क्यों एक मोंतागुएहै, क्या वो कोई और नही हो सकता था. काश वो उनके दुश्मन का बेटा ना होता. काश वो उस खानदान का हिस्सा ना होता. जुलिएट की मीठी-मीठी बाते सुनकर रोमियो अब खुद को रोक नही पाया. उसने जवाब में कहा” मै तुम्हे बताना चाहता हूँ कि तुम मुझे चाहे जिस नाम से भी पुकारो, मुझे मंजूर है. अगर तुम्हे मेरा मोंतागुएहोना पसंद नही है तो उसके लिए मै अपनी पहचान भी बदलने को तैयार हूँ. अगर तुम्हे रोमियो नाम पंसद नही है तो लो! मै आज से रोमियो नही हूँ” .
नीचे गार्डन से किसी मर्द की आवाज़ सुनकर जुलिये चौंक उठी. रात के अँधेरे की वजह से गार्डेन में खड़ा रोमियो उसे नजर नहीं आया. कुछ पल के लिए तो वो डर गयी, उसे लगा कि उसके दिल का हाल किसी अजनबी ने सुन लिया है. पर जब उसने रोमियो की आवाज़ फिर से सुनी, हालाँकि उसकी रोमियो से सिर्फ एक ही बार बात हुई थी, पर उसकी आवाज़ वो हजारों में पहचान सकती थी, उसे यकीन हो गया कि ये रोमियो ही था उसे गार्डन में उसकी बाते सुन रहा है. जुलिएट समझ गयी कि वो रोमियो ही है जो इतना बड़ा रिस्क उठाकर उससे मिलने आया है. अगर उसकी फेमिली में किसी ने रोमियो को वहां देख लिया तो उसे जिंदा नही छोड़ेंगे. उसका सबसे बड़ा गुनाह तो यही था कि वो एक मोंतागुए था.
“ उनकी तलवार इतनी जानलेवा नही है जितनी तुम्हारी आँखे” रोमियो बोला.
“ ज़रा मुझ पर भी रहम की नजर कर दो माई लेडी, फिर तो मै सारी दुनिया से टक्कर ले सकता हूँ. तुम्हारे प्यार के बिना जीने से अच्छा है कि मै उनकी नफरत से मर जाऊं”
“ पर तुम यहाँ कैसे और किसकी इजाज़त से आए हो? और जुलिएट ने हैरानी से पुछा.
“प्यार ने मुझे इजाजत दी” रोमियो बोला.
“ मै कोई पाईरेट नहीं हूँ पर ऐसे खूबसूरत खजाने के लिए मै सात समुंद्र पार से भी उड़कर आ सकता हूँ”
उसकी बात सुनकर जुलिएट का चेहरा शर्म से लाल हो गया था, ये रात के अँधेरे में रोमियो भी नही देख पाया. उसने अनजाने में ही अपने प्यार का इज़हार रोमियो से कर दिया था जबकि उसे पता भी नहीं था कि वो सब कुछ चुपके से सुन रहा है. वो रोमियो से एक बार और अपने दिल का हाल कहने को तड़प रही थी पर उसकी शर्म उसे रोके हुए थी. नहीं, ये शरीफ लडकियों के काम नहीं है’ उसने दिल में सोचा. नहीं, वो रोमियो की इन मीठी बातो में नहीं आएगी बल्कि ऐसा शो करेगी कि उसे कोई फर्क नही पड़ता. वो कोई ऐरी गैरी नहीं है कि किसी के भी प्यार में पड़ जाए. पर अब कुछ नही हो सकता था. अब नखरे दिखाने का कोई फायदा नही था क्योंकि रोमियो ने खुद अपने कानो से उसके मुंह से प्यार का इज़हार सुन लिया था. जुलिएट ने सोचा” मै कितनी नादान हूँ जो बिना सोचे-समझे अपने दिल की बात कह दी”
तो अब पूरी ईमानदारी से उसने रोमियो को सच बोल दिया, वो सच जो वो पहले ही सुन चूका था. उसे फेयर मोंतागुएनाम से बुलाते हुए, उसने रोमियो से रिक्वेस्ट करी कि वो उसके प्यार के इज़हार को गलत ना समझे. कहीं वो उसे एक आवारा लड़की ना समझ ले जो पहली नजर में उसे दिल दे बैठी. वो बेख्याली में ना जाने क्या-क्या बोल गयी.
“ तुम मुझे गलत मत समझो, मै जानती हूँ कि हम सिर्फ एक बार मिले है पर फिर भी तुम मेरे लिए एक अजनबी हो. और मेरे घरवाले नही चाहेंगे कि मै किसी अजनबी से बाते करूँ. देखो, मै एक शरीफ लड़की हूँ, समझे !” जुलिएट बोली.
रोमियो का बस चलता तो वो जुलिएट को अपना दिल खोलकर दिखा देता कि वो जुलिएट की कितनी ईज्जत करता है. और वो जुलिएट को प्रूव करने के लिए कसमे देने लगा पर जुलिएट ने उसे रोक दिया. वैसे वो दिल ही दिल में खुश थी कि रोमियो उसे कितना चाहता है. लेकिन इस रात में जो गडबड उससे हुई थी, उससे वो ज़रा भी खुश नही थी, सब कुछ इतना अचानक, इतना बेवकूफी भरा लग रहा था. पर वो ये नही जानती थी कि रोमियो खुद अपने प्यार का इज़हार करने उस रात उससे मिलने आया है, अगर ये सच नही होता तो वो गार्डन की दिवार कूद कर, इतना खतरा उठाते हुए वहां कभी नहीं आता.
रोमियो जुलिएट के दिल की बात जानने आया था, वो ये श्योर कर लेना चाहता था कि वो भी उसे उतना ही चाहती है. उसने जुलिएट से पुछा तो उसने जवाब दिया कि उसके मांगने से पहले ही वो उसे अपना दिल दे चुकी है. रोमियो के लिए उसका प्यार इतना गहरा है जितना कि समुंद्र है. वो रोमियो को अपने प्यार का यकीन दिला ही रही थी कि पीछे से एक नौकरानी की आवाज़ आई जो जुलिएट के साथ उसके रूम में सोती थी. उसने जुलिएट को कहा कि उसे अब सोना चाहिए क्योंकि रात काफी हो चुकी है. जुलिएट ने जल्दी से रोमियो को बोला”अगर तुम सच में मुझे दिल से प्यार करते हो और मुझसे शादी करना चाहते हो तो मै कल तुम्हारे यहाँ एक मैसेंजर भेजूंगी ताकि हमारी शादी की तारिख तय हो जाए.”
और उसने रोमियो को ये भी कहा कि वो अपना सब कुछ उसके कदमों पे रख देगी, उसे अपना खुदा मानकर जिंदगी भर उसके पीछे-पीछे चलती रहेगी. इससे पहले कि उनके बीच और बाते होती, नौकरानी ने फिर से जुलिएट को आवाज़ दी. वो जाने को हुई कि रोमियो ने उसका हाथ पकड़ लिया. वो कुछ पल रुकी और फिर जाने लगी. रोमियो से एक पल की जुदाई भी अब उसे बर्दाश्त नहीं थी. जुलिएट की हालत उस लड़की की तरह थी जो एक खूबसूरत चिड़ियाँ को पकड़ लेती है, वो चिड़ियाँ को कुछ दूर जाने देती है और फिर उसे अपने हाथो में पकड़ लेती है. कहीं चिड़ियाँ उड़ कर दूर ना चली जाए इस डर से वो उसके पैर एक रेशमी धागे से बाँध लेती है. जुलिएट का बस चलता तो वो रोमियो को भी चिड़िया की तरह हमेशा के लिए बाँध कर रख लेती. पर आखिर में उन्हें एक दुसरे से दूर जाना ही पड़ा. और एक दुसरे को स्वीट ड्रीम्स बोलकर दोनों लवर एक दुसरे से जुदा हुए.